अभिनव राजस्थान में क्या होगा ? (आज पांच और बातें.)
1. राजस्थान में खेती cost free और risk free होगी. पहले वर्ष में साढ़े पांच हजार गाँव इस ‘अभिनव कृषि योजना’ में जुड़ जायेंगे. फिर दस हजार और फिर बाकी गाँव. शत प्रतिशत फसल लागत और बीमा राशि शासन की तरफ से देय होगी. किसान को लागत और प्राकृतिक नुकसान की एक प्रतिशत भी चिंता नहीं होगी. ग्राम एक इकाई होगा और सभी निर्णय वहीं होंगे. लेकिन मुफ्त कुछ नहीं होगा. बैंक और कृषि विज्ञान के नियम लागू होंगे. सब कुछ राजस्थान के वर्तमान बजट संसाधन के भीतर होगा.
2. पुलिस पीड़ित के घर आकर FIR लिखेगी. किसी को थाने नहीं जाना होगा और न ही ‘साहब नहीं है’, का जवाब सुनना होगा. अब साहब जनता होगी. हर हफ्ते पुलिस पीड़ित को केस की जांच की प्रोग्रेस घर आकर बताएगी. यह जनता की अपनी पुलिस होगी- नेताओं की नहीं.
3. गाँव गाँव में बैठे दरजी, सुनार, सुथार, चर्मकार, कुम्हार, लुहार, ठठेरे और जुलाहे को राजस्थान के प्रमुख उद्यमी माना जायेगा. अब वे मजदूर नहीं होंगे, कलाकार होंगे और उन्हें काम की तलाश में किसी और प्रदेश में नहीं जाना होगा. जो गए हैं, उनको वापिस बुला लेंगे. उनको पूँजी-तकनीक-बाजार ‘अभिनव उद्योग योजना’ में उपलब्ध करवाया जायेगा. उनके बनाये हुए जूते, कपड़े, बर्तन, फर्नीचर और आभूषण बहुत आकर्षक होंगे, राजस्थान के परिवारों में भी लोकप्रिय होंगे और विश्व के बाजारों की रौनक फिर से बढ़ाएंगे. चीन बाहर ! प्रत्येक संभाग और जिला मुख्यालय पर इनके उत्पादों के शानदार शोरूम होंगे.
4. राजस्थान की कोई भी बालिका अपने घर पर रहकर ग्रेजुएशन की शिक्षा आर्ट्स, साइंस और कॉमर्स में पूरी करेगी. ‘अभिनव शिक्षा परिवहन’ से, जिसमें उनको अपने घर से विकास खंड (पंचायत समिति) मुख्यालय तक लेन ले लाने की अनुपम और सुरक्षित व्यवस्था होगी.
5. राजस्थान में विवाह समारोह बहुत सादगी से मगर गरिमा और भव्यता से होंगे. अत्यंत कम खर्च में मूल शास्त्रीय नियमों से विवाह संपन्न होंगे. विवाह अब फिर से परिजनों के लिए आनंद का क्षण होगा, न कि टेंशन का, जैसा वर्तमान में हो गया है. सम्पूर्ण राजस्थान में सादगी से विवाह को फैशन बनया जायेगा- बड़े स्तर पर माहौल बनाकर ताकि किसी परिवार को नीचा देखने का भाव मन में न आये. अब परिवार की कमाई बच्चों की पढ़ाई और रहन सहन का स्तर सुधारने पर खर्च होगी.
अभिनव राजस्थान, एक सम्पूर्ण नई व्यवस्था का नाम है, जो जीवन के सभी पक्षों की समृद्धि के लिए होगी. शासन और समाज के बीच अद्भुत समन्वय से यह होगा.
सम्पूर्ण योजना विस्तार से अपनी पुस्तक में उपलब्ध है- जिसे आप इस लिंक से डाउनलोड कर सकते हैं या वहीं पढ़ सकते हैं, विभिन्न शीर्षकों से. एक भी बात हवा में नहीं है, तथ्यों और आंकड़ों के साथ राजस्थान के वर्तमान संसाधनों के भीतर है. बस प्राथमिकता बदल दी गई है – राज की जगह विकास !