12 अक्टूबर को सूचना का अधिकार दिवस है. असली भारतीय लोकतंत्र का पर्व है. इस अधिकार के दस साल पूरे होने के उपलक्ष्य में मेड़ता में एक कार्यक्रम होगा. 12 अक्टूबर को शाम 5 बजे से 6 बजे तक. अगले दिन 13 अक्टूबर को मेड़ता में ही नवरात्रा स्थापना के साथ अभिनव सूचनालय की स्थापना भी हो जायेगी.
इस सूचनालय में स्थानीय नागरिक अपने शासन से जुड़े महत्वपूर्ण कागज रोजाना शाम को 6 बजे 8 बजे के बीच देख पायेंगे. कमियाँ पाई जाने पर आवश्यक विधि सम्मत कार्रवाई की जायेगी. यानी मेड़ता में लोक का तंत्र स्थापित हो जाएगा.
उसके बाद यहाँ का शासन नेताओं और अफसरों के भरोसे नहों होगा. इसके बाद क्रमशः हम अगले स्थानों की तरफ बढ़ेंगे. 2016 को असली लोकतंत्र का वर्ष बना देंगे. इस वर्ष में राजस्थान के कोने कोने में अभिनव सूचनालय खुलेंगे जो असली लोकतंत्र के स्तम्भ बनेंगे. शुभ हो !
(नोट:
1. पहले यह कार्क्रम नागौर में किया जाना तय था. लेकिन अभिनव राजस्थान अभियान जिस मीरा नगरी से प्रारम्भ हुआ, उसी जगह से अभियान का अगला चरण शुरू करना यानी सूचनालय की स्थापना करना न्यायोचित लगा. इसके बाद नागौर और डीडवाना और फिर अन्य जिलों में में सूचनालय स्थापित होंगे.
2. मेड़ता के इस कार्यक्रम में केवल मेड़ता और आसपास के मित्र भाग लेंगे. अन्य मित्रों से आग्रह है कि वे अपने अपने स्थानों पर छोटे-बड़े कार्यक्रम ‘अभिनव राजस्थान’ के बेनर तले करें. संख्या कोई समस्या नहीं हो. पांच मित्रों से पांच सौ हो ! कार्यक्रम का होना और उसकी रिपोर्टिंग महत्वपूर्ण है.
3. हमें इस पर्व के महत्त्व को समझना है. इस अधिकार के बिना हमारा किसी भारतीय सरकारी कार्यालय में जाना और उसके कागज देखना असंभव था. लोकतंत्र के नाम पर हम केवल वोट देना या धरने प्रदर्शन करना ही समझते थे और अक्सर स्वार्थी चालाक लोगों के हाथों ठगे जाते थे. इस अधिकार ने ही भारत में लोकतंत्र की नींव रखी है. हमें इस नींव पर लोकतंत्र का भवन खड़ा करना है. इसलिए कोई ढिलाई मित्र न रखें. बस ध्यान रहे कि कार्यक्रम गरिमा से हों, मर्यादा में हों और मुद्दे से न भटके.)
अभिनव राजस्थान